डोकलाम के पास एक बार फिर से चीनी सेना की मौजूदगी देखी गई है. मीडिया रिपोर्ट्स की अनुसार यहां 1500-1800 के बीच चीनी सैनिकों के होने की खबर है| चीन सैनिकों के यहां लगभग 110 बंकर देखे गए है
नई दिल्ली/भारत:- डोकलाम के पास एक बार फिर चीनी सेना की मौजूदगी देखी गई है. मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो यहां 1500-1800 के बीच चीनी सैनिकों के होने की खबर है. चीन सैनिकों के यहां लगभग 110 बंकर देखे गए है. माना जा रहा है कि 28 अगस्त 2017 को 73 दिन तक चले गतिरोध के बाद चीन को पीछे हटना पड़ा था. लेकिन चीन ने सर्दियां आते ही उसने अपनी हरकतें फिर से शुरू कर दी है. चीन की सेना पीपुल्स लिब्रेशन आर्मी ने इस इलाके में कड़ाके की ठंड की आड़ में अब अपनी गतिविधियां तेज कर दी है.खबर है कि चीनी सेना यहां हेलिपैड्स, रोड और शिविरों को बनाने का काम कर रहे हैं. डोकलाम के पास चीनी सेना की इतनी बड़ी संख्या में मौजूदगी भारतीय सुरक्षा एजेंसियों के लिए चिंता का विषय है. उनका कहना है कि अब चीन को दक्षिण की तरफ किसी भी हालत में सड़क का विस्तार नहीं करने दिया जाएगा. इस क्षेत्र में पीपल्स लिबरेशन आर्मी (PLA) के जवान स्थाई रूप से रहते हैं.
खबर है कि सोमवार को भारत की विदेश मंत्री सुषमा स्वराज की चीनी विदेश मंत्री वांग यी से मुलाकात होनी है, माना जा रहा है कि डोकलाम में चीनी सेना की गतिविधियों को लेकर भारत अपना विरोध दर्ज करवा सकता है.आपको बता दें कि कुछ दिन पहले ही चीनी सेना ने सर्दियों के दौरान डोकलाम गतिरोध क्षेत्र के निकट अच्छी खासी संख्या में अपने सैनिकों की मौजूदगी रखने का संकेत दिया था. चीनी सेना ने दावा किया था कि वह क्षेत्र (डोकलाम)चीनी भूभाग में है. आधिकारिक विवरणों के अनुसार चीन और भारत दोनों अतीत में सर्दियों के मौसम के दौरान अग्रिम क्षेत्रों से सैनिकों को हटा लिया करते थे. चीनी रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता कर्नल वु छियान ने कहा,डोंगलांग (डोकलाम) चीनी भूभाग है.
भारत और चीन ने 73 दिनों तक चले गतिरोध का गत 28 अगस्त को समाधान किया था जब पीपुल्स लिबरेशन आर्मी ने भारत के संकरे चिकेन नेक इलाके के करीब सामरिक सड़क का निर्माण रोक दिया था. यह इलाका पूर्वोत्तर राज्यों को जोड़ता है. भूटान भी डोकलाम क्षेत्र को अपना हिस्सा बताता है. भारत ने पीएलए द्वारा सड़क निर्माण किये जाने का विरोध किया था. उसने कहा था कि यह संकरे गलियारे की सुरक्षा को खतरे में डालता है.